(ऊपर हैं, मिस हिप्पी!) (और यह हैं - काऊप्यूटर गर्ल!) एक पत्रिका के पन्ने पलट रहा था तो कुछ होली काऊ! दिखे. इंटरनेट पर इनके प...
(ऊपर हैं, मिस हिप्पी!)
(और यह हैं - काऊप्यूटर गर्ल!)
एक पत्रिका के पन्ने पलट रहा था तो कुछ होली काऊ! दिखे. इंटरनेट पर इनके पृष्ठ पर गया तो और भी ढेरों मजेदार काऊ दिखे. इन पर शायद भारतीय काऊ (गाय! नहीं?) प्रेमी जनता की नजर नहीं पहुँची है अब तक इसीलिए ये काऊ भिन्न-भिन्न रूपाकार और लिबास में विक्रय के लिए उपस्थित हैं, अन्यथा काऊ का चरित्र हरण करने के प्रयास में इन पर केस दर्ज हो सकता है और हो सकता है कि इन पर बैन लग जाए. और, (इन होली काऊ के फोटू छापने के नाम पर) यह खतरा तो इस ब्लॉग पर भी उत्पन्न हो सकता है, मगर खतरा तो फिर, भोपाल की सड़कों में चलने पर भी बहुत है!
अगर ये होली काऊ आपको पसंद आए हों तो आप और भी होली काऊ काऊपरेड पर देख सकते हैं, और अपने लिए कुछ खरीद सकते हैं. मुझे एकाध पसंद आई भी, खासकर चॉकलेट काऊ, पर वो बेहद महंगी थी – बेहद महंगी.
सुन्दर प्रस्तुति,महंगी काउ हैं सर जी.
जवाब देंहटाएंआपकी इस प्रविष्टी की चर्चा कल रविवार (10-03-2013) के चर्चा मंच 1179 पर भी होगी. सूचनार्थ
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर प्रस्तुति!
जवाब देंहटाएं--
महाशिवरात्रि की शुभकामनाएँ...!
संभव तो है, देखते हैं।
जवाब देंहटाएंअपने लिए तो आपकी राय ही निर्णायक सूचना होती है। जब आपको ही मँहगी लगी तो अपने तो बस की बात ही नहीं। सो, जितना आपने लिखा वही पढ कर और जो फोटू आपने छापे वे देखकर ही काम चला लिया।
जवाब देंहटाएंबढ़िया प्रस्तुति-
जवाब देंहटाएंशुभकामनायें -
हर हर बम बम
आप भी कमाल करते हैं ...इतना बड़ा जोखिम उठा लिया बैठे-ठाले ....अरे ! 'होली काउज' की रानी तक बात पहुँच गयी तो आपके साथ बाकी सबकी भी ख़ैर नहीं ...'मैंगो-पीपुल' की तरह चुपचाप क्यूँ नहीं पड़े रहते .....एक न एक दिन तो कोई 'काऊ' आखिरकार आपको भी चूस कर फेंक ही जायेगी ...पहले से ही क्यूँ मुसीबत बुलाते हैं
जवाब देंहटाएंइस पर भी एक नजर .....आपका स्वागत है ....
http://shikhagupta83.blogspot.in/2013/03/blog-post_9.html
बढ़िया प्रस्तुति-
जवाब देंहटाएंमहा शिवरात्रि की शुभकामना